हिंदुस्तानीय देशीय कांग्रेस पार्टी के नेता मनोहरभाई पटेल के बेटे प्रफुल्ल मनोहरभाई पटेल का पॉलिटिक्सक करियर की प्रारम्भआत 1991 में हुई और उन्हें 2004 में केन्द्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री के रूप में नियुक्त किया गया. वह 2012 से अखिल हिंदुस्तानीय फुटबॉल महासंघ (एआईएफएफ) के हिंदुस्तानीय संघ फुटबॉल शासी निकाय के अध्यक्ष हैं. वह 2017 से चार वर्ष तक फीफा वित्त समिति के मेम्बर भी बने रहे. जब प्रफुल्ल पटेल 13 वर्ष के थे, तभी उनके पिता मनोहरभाई पटेल की मृत्यु हो गई थी.
राजनीति यात्रा
प्रफुल्ल पटेल ने अपने पिता के नक्शेकदम पर चलते हुए पॉलिटिक्सक करियर में कदम रखा और 1985 में गोंदिया, महादेश के अध्यक्ष बने और 1991 में 10वीं लोकसभा के लिए चुने गए.1996 में 11वीं और 12वीं लोकसभा के लिए फिर से चुने गए. 2004 में, पटेल नागरिक उड्डयन प्रदेश मंत्री बने. वह 2006 में अपने दूसरे कार्यकाल के लिए राज्यसभा के लिए फिर से चुने गए और 2009 में वे चौथे कार्यकाल के लिए 15वीं लोकसभा के लिए फिर से चुने गए. उद्योग मंत्री के रूप में, पटेल ने राजस्थान में सांभर झील के पास दुनिया के सबसे बड़े सौर ऊर्जा संयंत्र के निर्माण के लिए एक परियोजना शुरू की.
पटेल ने फीफा विश्व क्लब चैंपियनशिप की मेजबानी के लिए हिंदुस्तान से बोली भी लगाई है. 14 फरवरी 2014 को, अखिल हिंदुस्तानीय फुटबॉल महासंघ (AIFF) को सर्वश्रेष्ठ देशीय खेल महासंघ का नाम दिया गया. पटेल के अनुसार, एआईएफएफ ने फुटबॉल स्पोर्ट्स डेवलपमेंट प्राइवेट लिमिटेड द्वारा संचालित भारतीय सुपर लीग की आरंभ की, जिसका उद्राष्ट्र्य अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर हिंदुस्तानीय फुटबॉल को और अधिक प्रतिस्पर्धी बनाना है. अप्रैल 2014 में, पटेल ने भारतीय सुपर लीग में आठ फ्रेंचाइजी मालिकों की घोषणा की.